रेस्ट हाउस में होती थी बैठकः दोगुने कीमतों पर हुई तालपत्री की खरीदी…….अकेले इस जिले में 20 करोड़ का खेला
रायपुर/दुर्ग : जिला सहकारी बैंक दुर्ग में सीईओ ने 100 करोड़ से अधिक का तालपत्री खरीदी में घोटाला किया। अधिकारी ने राजनीतिक सरंक्षण में दोगुनी कीमतों पर तालपत्री की खरीदी की और दबावपूर्वक भुगतान कराया। सहकारिता विभाग तक पहुंची शिकायत चौकाने वाले है। शिकायतकर्ता योगेंद्र दिल्लीवार और लेखुदास साहू के अनुसार सीईओ रहते श्रीमती अपेक्षा व्यास ने जिला सहकारी बैंक दुर्ग अंतर्गत आने वाले 311 सहकारी समितियों के धान खरीदी केन्द्रो में दोगुने कीमत में तालपत्री, भूसा, और सुतली की सप्लाई कराई। भिलाई निवासी एक ठेकेदार को सभी सहकारी समितियों में सप्लाई का ठेका दिया गया था, जो वर्तमान में भी कांटा मशीन सहित अन्य सामानो की सप्लाई कर रहा है। सीईओ ने सभी शाखा प्रबंधको से दबावपूर्वक भुगतान कराया और जिन्होंने भुगतान करने से इंकार किया उन्हें हटाकर सहायक लेखापालो को प्रभारी शाखा प्रबंधक बनाकर भुगतान कराया गया था।
रेस्ट हॉउस में होती थी बैठक
जिला सहकारी बैंक दुर्ग घोटाले की कलई बैंक के कर्मचारी खोल रहे है, बैंकिंग अधिकारियो के अनुसार 14 साल की सर्विस में श्रीमती व्यास 11 साल तक जिला सहकारी बैंक दुर्ग में पदस्थ रही, इस दौरान जमकर गड़बड़िया हुई। साल 2019 से लेकर 2021 तक बैंक का ऋण असंतुलन बिगड़ गया तो दोगुनी कीमतों पर तालपत्री खरीदी की शिकायत हुई। बैंकिंग सूत्रों के अनुसार पाटन विधायक और पूर्व मुख्यमत्री के ओएसडी के साथ पाटन के रेस्ट हाउस में दुर्ग जिला अंतर्गत खोल रहे है, बैंकिंग अधिकारियो के अनुसार 14 साल की सर्विस में श्रीमती व्यास 11 साल तक जिला सहकारी बैंक दुर्ग में पदस्थ रही, इस दौरान जमकर गड़बड़िया हुई। साल 2019 से लेकर 2021 तक बैंक का ऋण असंतुलन बिगड़ गया तो दोगुनी कीमतों पर तालपत्री खरीदी की शिकायत हुई। बैंकिंग सूत्रों के अनुसार पाटन विधायक और पूर्व मुख्यमत्री के ओएसडी के साथ पाटन के रेस्ट हाउस में दुर्ग जिला अंतर्गत सभी शाखाओ के जिला सहकारी बैंको के शाखा प्रबंधको की बैठक लेकर उन्हें बिलिंग करने हिदायत दी गई थी, जिन्होंने ने इंकार किया तो वैसे शाखा प्रबंधको को हटाकर लेखापाल को प्रभारी शाखा प्रबंधक बनाकर भुगतान कराया गया था। जाँच रिपोर्ट के अनुसार सिर्फ बेमेतरा जिले में ही 20 करोड़ से अधिक का खेल हुआ है, जिसकी रिपोर्ट डिसीसीबी मुख्यालय में धूल खा रही है।